
वैश्विक हिंदी परिवार द्वारा आयोजित अच्छी हिंदी : विशेष संदर्भ व्याकरण’ कार्यशाला का समापन आज 06 मई 2025 को हुआ। इस कार्यशाला का उद्देश्य प्रतिभागियों को व्याकरण के मूलभूत सिद्धांतों और उनके व्यावहारिक प्रयोग से परिचित कराना था। कार्यशाला का आरंभ 01 अप्रैल 2025 से प्रत्येक मंगलवार सायं 8:00 बजे से 9:30 बजे नियत किया गया। जिसके उद्घाटन सत्र में देश-विदेश की प्रबुद्ध विद्वान एवं भाषाविदों की उपस्थिति और सहभागिता रही।
हिंदी व्याकरण एवं वर्तनी की अशुद्धियों से संबंधित विभिन्न पक्षों पर परिचर्चा के माध्यम से लोगों ने अपनी समस्याएं रखीं। जिसके समाधान हेतु आगामी पांच दिवसीय कार्यशाला और उसका स्वरूप तय हुआ। इस अवसर पर वक्ता के रूप में वरिष्ठ कवयित्री सुश्री अनीता वर्मा; पूर्व निदेशक- राजभाषा भारतीय रेल डॉ० बरुण कुमार एवं भाषाविद् डॉ० सृजन कुमार, एसोसिएट प्रोफेसर, बुसान विश्वविद्यालय, दक्षिण कोरिया के साथ इस कार्यशाला की बुनियाद रूप में सक्रिय श्री अनिल जोशी जी अपने विचार प्रकट किया। कार्यशाला की अध्यक्षता डॉ० प्रत्यूष वत्सला, प्रधानाचार्य, लक्ष्मीबाई महाविद्यालय, दिल्ली ने एवं स्वागत वक्तव्य डॉ० संतोष संप्रीति ने किया।

कार्यशाला प्रशिक्षक डॉ अशोक बत्रा जी ने व्याकरण के मूलभूत सिद्धांतों, मानक हिंदी, वर्ण, शब्द, वाक्य भेद एवं रचना, पद परिचय, वर्तनीगत त्रुटियां, विदेशी एवं देशज शब्द, पर्यायवाची शब्दों का महत्व, उपसर्ग एवं प्रत्यय के प्रयोग, संज्ञा, सर्वनाम, क्रिया, विशेषण एवं कारक की पहचान, समास एवं उसके भेद, मुहावरे एवं लोकोक्तियाँ, विराम चिह्नों के अनुप्रयोग, उच्चारण दोष, शब्द चयन की सार्थकता जैसे अनेक उपयोगी विषय पर उदाहरण एवं काव्यात्मक शैली से कार्यशाला को रोचक रूप प्रदान कर गतिशीलता बनाये रखी। जिससे कार्यशाला व्यावहारिक एवं रुचिकर रही।


इस कार्यशाला में शताधिक प्रतिभागियों ने नामांकन किया और पूर्ण मनोयोग से सीखने में रुचि ली। सब के लिए कार्यशाला उपयोगी रही। इस कार्यशाला का उद्देश्य शिक्षकों के माध्यम से विद्यार्थियों तक व्याकरण एवं अच्छी हिंदी के प्रयोग को पहुंचाया जा सके। इसलिए इस कार्यशाला में प्राथमिक, माध्यमिक शिक्षक के साथ अनेक विश्वविद्यालय के व्याख्याता एवं शोधार्थी भी जुड़े। इस प्रकार यह कार्यशाला सौ शिक्षकों के माध्यम से हजारों विधार्थियों तक पहुंचेगी और हिंदी भाषा के बेहतर प्रयोग में सहायक होगी। इस कार्यशाला के समापन अवसर पर आदरणीय श्री अनिल जोशी जी ने अपने वक्तव्य में कार्यशाला की सफलता की प्रशंसा करते हुए इससे जुड़े सभी लोगों का धन्यवाद एवं आभार ज्ञापन किया। कार्यशाला का सफल संचालन एवं संयोजन श्री मनोज श्रीवास्तव ‘अनाम’ ने किया।

आयोजक- वैश्विक हिंदी परिवार