इंसाफ का सवाल

वाह रे मेरे देश के इंसान,
मारते हो इक छोटी सी बच्ची,
और चिल्लाते हो,
मेरा भारत महान।
वाह रे, मेरे देश के फ़नकार,
खिताब न लौटाओगे अब,
बैनर न लगाओगे अब,
अरे झूठे हो तुम फ़नकार।
नेता जी, ओ नेता जी।
देवी को शीश नवाँएगे,
पर देवी को हम न बचायेंगे,
वाह रे मेरे नेता जी!
अरे इंसाफ करो,
इंसाफ करो,
आगे न हो ये,
इंसाफ करो।
लटका दो सूली पर
जब तक निकल न जाये जान,
खत्म करो इन हत्यारों को,
और बोलो,
“मेरा भारत महान।”

*****

-सूर्य प्रताप सिंह

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Translate This Website »